लेटरल एंट्री UPSC की नियुक्ति प्रक्रिया की तरह ही अपने आप में एक चुनौतीपूर्ण पहलू है.




IAS, IPS, IRS या किसी अन्य UPSC पद पर चयन पाने का सपना हर युवा देखता है. कई लोग तो यही अपना अंतिम लक्ष्य मानकर तैयारी करते हैं और सालों-साल मेहनत करते हैं. पर क्या आप जानते हैं कि UPSC में लेटरल एंट्री के प्रावधान के माध्यम से भी अपनी योग्यता साबित करके इन पदों को पाया जा सकता है?


लेटरल एंट्री क्या है?

लेटरल एंट्री सरकारी नौकरियों में नियुक्ति का एक तरीका है जिसके तहत अनुभवी पेशेवरों को सीधे उच्च पदों पर नियुक्त किया जाता है. इस प्रक्रिया में उम्मीदवारों को किसी लिखित परीक्षा से नहीं गुजरना पड़ता है, बल्कि उनके अनुभव और कौशल के आधार पर उनका चयन किया जाता है.


UPSC में लेटरल एंट्री

संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) भी विभिन्न पदों के लिए लेटरल एंट्री की सुविधा प्रदान करता है. UPSC में लेटरल एंट्री के तहत उम्मीदवारों को सीधे डेप्युटी सेक्रेटरी, अंडर सेक्रेटरी या डायरेक्टर जैसे वरिष्ठ पदों पर नियुक्त किया जाता है.


पात्रता मानदंड

UPSC में लेटरल एंट्री के लिए उम्मीदवारों को निम्नलिखित पात्रता मानदंडों को पूरा करना होता है:

  • किसी मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से स्नातक डिग्री होना चाहिए.
  • न्यूनतम 8 वर्ष का प्रासंगिक अनुभव होना चाहिए.
  • आयु सीमा 45 वर्ष से अधिक नहीं होनी चाहिए.

चयन प्रक्रिया

UPSC में लेटरल एंट्री के लिए चयन प्रक्रिया काफी कठोर और प्रतिस्पर्धी होती है. इसमें निम्नलिखित चरण शामिल होते हैं:

  • प्रारंभिक चयन: इस चरण में उम्मीदवारों के आवेदनों की जांच की जाती है और उनकी योग्यता को सत्यापित किया जाता है.
  • साक्षात्कार: प्रारंभिक चयन में सफल होने वाले उम्मीदवारों को साक्षात्कार के लिए बुलाया जाता है. साक्षात्कार में उम्मीदवारों के अनुभव, कौशल और व्यक्तित्व का आकलन किया जाता है.
  • मेरिट सूची: साक्षात्कार के आधार पर एक मेरिट सूची तैयार की जाती है और सबसे अधिक अंक प्राप्त करने वाले उम्मीदवारों को नौकरी की पेशकश की जाती है.

लाभ

UPSC में लेटरल एंट्री के कई लाभ हैं, जिनमें शामिल हैं:

  • जल्दी पदोन्नति: लेटरल एंट्री के माध्यम से नियुक्त होने वाले उम्मीदवारों को जल्दी पदोन्नति मिलने की संभावना होती है.
  • बेहतर वेतन और भत्ते: वरिष्ठ पदों पर नियुक्त होने के कारण लेटरल एंट्री उम्मीदवारों को बेहतर वेतन और भत्ते मिलते हैं.
  • अधिक जिम्मेदारी: वरिष्ठ पदों पर अधिक जिम्मेदारी होती है, जो उम्मीदवारों को उनके कौशल और क्षमताओं को विकसित करने का अवसर प्रदान करती है.
  • विविधता: लेटरल एंट्री के माध्यम से UPSC में आने वाले उम्मीदवार विभिन्न क्षेत्रों और उद्योगों से आते हैं, जिससे संगठन में विविधता आती है.

निष्कर्ष

UPSC में लेटरल एंट्री अनुभवी पेशेवरों के लिए अपने कैरियर को आगे बढ़ाने और सिविल सेवा में योगदान करने का एक उत्कृष्ट अवसर है. यह प्रक्रिया हालांकि चुनौतीपूर्ण है, लेकिन इसके कई लाभ हैं. यदि आपके पास उपयुक्त योग्यता और अनुभव है, तो UPSC में लेटरल एंट्री के लिए आवेदन करने पर विचार करें.