संजय निरुपम: मुंबई के 'फायरब्रांड नेता'




मुंबई की राजनीति का चेहरा बदलने वाले एक शख्स हैं संजय निरुपम। अपनी बेबाक और विवादित बयानों के लिए जाने जाते हैं इन्हें मुंबई के 'फायरब्रांड नेता' के नाम से भी जाना जाता है।

युवाओं के बीच लोकप्रिय

  • संजय निरुपम युवाओं के बीच बेहद लोकप्रिय हैं।
  • उनकी बेबाकी और मुद्दों पर खरी-खरी बात करने का अंदाज युवाओं को खासा भाता है।
  • प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को 'फ़कीर' कहने जैसे उनके बयान अक्सर सुर्खियां बटोरते हैं।

शिवसेना से कांग्रेस

संजय निरुपम का राजनीतिक सफर शिवसेना से शुरू हुआ।

वह शिवसेना के युवा नेता के तौर पर उभरे, लेकिन पार्टी में विचारों के मतभेद के चलते उन्होंने 2012 में शिवसेना छोड़ कांग्रेस का दामन थाम लिया।

कांग्रेस में उतार-चढ़ाव भरा सफर

कांग्रेस में संजय का सफर उतार-चढ़ाव से भरा रहा। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता रहते हुए भी वह पार्टी के आलाकमान से टकराते रहे।

  • 2019 के लोकसभा चुनाव में उन्हें कांग्रेस टिकट नहीं दिया गया, जिससे वह काफी नाराज हुए।
  • अब हैं निर्दलीय

    कांग्रेस से निष्कासित होने के बाद संजय ने निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर चुनाव लड़ा। हालांकि, वे चुनाव हार गए।

    विवादों से रहा है नाता

    संजय निरुपम हमेशा से विवादों का हिस्सा रहे हैं।

  • किसी महिला पत्रकार को 'टांगिया' कहने के लिए उन्हें माफी मांगनी पड़ी थी।
  • आरएसएस को लेकर उनके दिए बयान भी विवादों का कारण बने थे।
  • खुद को मानते हैं 'आवाम का सेवक'

    विवादों के बावजूद संजय निरुपम खुद को 'आवाम का सेवक' मानते हैं। उनका कहना है कि वह हमेशा जनता की आवाज उठाते रहेंगे।

    राजनीति में भविष्य

    संजय निरुपम के राजनीतिक भविष्य पर अभी भी सस्पेंस बना हुआ है। वह अपने भविष्य के फैसलों के बारे में अभी तक चुप्पी साधे हुए हैं।

    लेकिन इतना तय है कि मुंबई की राजनीति में वह अभी से एक बड़ी ताकत बनकर उभर चुके हैं। उनकी बेबाकी और मुद्दों पर खरी-खरी बात करना उन्हें हमेशा ही सुर्खियों में लाता रहेगा।